पंजाब के बरनाला जिले के एक गांव के ब्राह्मण बिरादरी ने मस्जिद बनवाने के लिए जहां अपनी जमीन दान की, वहीं सिखों ने मस्जिद बनवाने के लिए फंड देकर सांप्रदायिक सौहार्द की मिसाल पेश की है।
4000 की आबादी वाले इस गांव में सिखों की संख्या सबसे ज्यादा है। हिंदू और मुसलमान 400-400 के करीब हैं। गांव की सरपंच का कहना है कि 300 साल पुराने गांव में सांप्रदायिक सौहार्द और पारस्परिक सहयोग का इतिहास रहा है।
टाइम्स ऑफ इंडिया की एक खबर के अनुसार, बरनाला के मूम गांव में रहने वाले मुस्लिम अभी तक बाबा मोमिन शाह की दरगाह पर बने 2 कमरों में नमाज पढ़ते थे। जमीन दान देने वाले ब्राह्मणों का कहना है कि मस्जिद के लिए जमीन दान देकर उनकी बिरादरी ने जिम्मेदारी निभायी है।
गांव में गुरुद्वारा पहले से ही है और एक शिव मंदिर का निर्माण हो रहा है। इसलिए गांव में एक मस्जिद का निर्माण भी होना चाहिए। हमारे लिए हर इंसान समान है, चाहे उसका धर्म कोई भी हो। उन्होंने कहा कि पंजाबी होने के कारण सांप्रदायिक सद्भाव हमें विरासत में मिला है।
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