योगी आदित्यनाथ सरकार का बहुप्रतीक्षित पहला मंत्रिमंडल विस्तार बुधवार पूर्वाह्न 11 बजे राजभवन के गांधी सभागार में होगा। राज्यपाल आनंदीबेन पटेल नए मंत्रियों और स्वतंत्र प्रभार से कैबिनेट तथा राज्यमंत्री से स्वतंत्र प्रभार मंत्री बनाए जाने वालों को शपथ दिलाएंगी। इस पहले विस्तार में एक दर्जन से ज्यादा नए चेहरों को शामिल किए जाने के संकेत हैं। आधा दर्जन से अधिक मंत्रियों को तरक्की दी जा सकती है। इस बीच, मंत्रिमंडल से विदाई की चर्चाओं के बीच कई मंत्रियों ने मंगलवार को ही अपने त्यागपत्र मुख्यमंत्री आदित्यनाथ को सौंप दिए। इनमें तीन मंत्रियों कैबिनेट मंत्री राजेश अग्रवाल और मुकुट बिहारी वर्मा एवं स्वतंत्र प्रभार राज्यमंमत्री अनुपमा जायसवाल के त्यागपत्र की पुष्टि हो गई है।
विस्तार में मंत्रिमंडल में शामिल आधा दर्जन से ज्यादा मंत्रियों के बाहर होने की खबरों के बीच जैसे ही मंगलवार को यह बात सामने आई कि पहला मंत्रिमंडल विस्तार बुधवार को तय हो गया है। उसी के साथ मंत्रियों के त्यागपत्र की जानकारी भी सामने आने लगी सबसे पहले वित्त मंत्री राजेश अग्रवाल के त्यागपत्र की पुष्टि हुई। उन्होंने अपने त्यागपत्र में 75 वर्ष की उम्र हो जाने को त्यागपत्र की वजह बताया है। इसके अलावा सहकारिता मंत्री मुकुट बिहारी वर्मा और बेसिक शिक्षा की स्वतंत्र प्रभार राज्यमंत्री अनुपमा जायसवाल के त्यागपत्र की पुष्टि हो गई। अन्य मंत्रियों के त्यागपत्र की पुष्टि नहीं हो पाई है।
इस तरह रही हलचल
इससे पहले रविवार को यह चर्चा फैली थी कि मंत्रिमंडल विस्तार सोमवार को हो सकता है। रविवार की छुट्टी होने के बावजूद राजभवन में अधिकारियों को बुला भी लिया गया था। पर, रात 8 बजे सोमवार का कार्यक्रम स्थगित कर दिया गया। सूत्रों की मानें तो इसकी वजह कुछ नामों को लेकर खींचतान थी। इसके बाद राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ और भाजपा के उच्च पदस्थ पदाधिकारियों के बीच विचार-विमर्श के बाद नाम तय किए गए। मंगलवार को यहां संघ और सरकार की समन्वय बैठक में भी इस बारे में चर्चा के बाद सूची को अंतिम रूप दिया गया।
जानकारी के मुताबिक, विस्तार के बाद कई मंत्रियों के विभागों में भी फेरबदल किया जा सकता है। कुछ मंत्रियों को महत्वपूर्ण विभाग देकर कद बढ़ाया जा सकता है तो कुछ के पर छांटे जा सकते हैं। प्रदेश में मंत्रिमंडल के सदस्यों की संख्या 60 तक हो सकती है। तीन मंत्रियों के सांसद चुन लिए जाने, एक मंत्री स्वतंत्रदेव के त्यागपत्र और ओमप्रकाश राजभर की बर्खास्तगी के कारण मंत्रिमंडल की संख्या 42 ही रह गई थी। अब इस्तीफों के कारण यह संख्या और कम हो गई है।
इन विधायकों की खुल सकती है किस्मत
नए चेहरों में मुजफ्फरनगर से कपिल देव अग्रवाल, बुलंदशहर की शिकारपुर सीट से अनिल शर्मा, पूर्वांचल से सतीश द्विवेदी, एमएलसी अशोक कटियार, विद्यासागर सोनकर, फतेहपुर सीकरी से उदयभान सिंह, वीरेंद्र कश्यप, चंद्रिका उपाध्याय, आनंद स्वरूप शुक्ला, अमेठी से दलबहादुर कोरी सहित एक दर्जन से अधिक विधायकों मंत्रिपरिषद में शामिल किया जा सकता है। विस्तार में सहयोगी अपना दल को भी जगह दी जा सकती है।
इनकी हो सकती है तरक्की
राज्यमंत्री स्वतंत्र प्रभार सुरेश राणा, उपेंद्र तिवारी, चौधरी भूपेंद्र सिंह, डॉ. महेंद्र सिंह और अनिल राजभर को कैबिनेट मंत्री बनाया जा सकता है। राज्यमंत्रियों जयप्रकाश निषाद, गिरीश यादव, नीलकंठ तिवारी, संदीप सिंह को स्वतंत्र प्रभार।
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